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बंडोल पुलिस बीमा क्लेम का लालच देकर पीड़ित मृतक आदिवासी परिवार को कर रही गुमराह

बंडोल पुलिस बीमा क्लेम का लालच देकर पीड़ित मृतक आदिवासी परिवार को कर रही गुमराह

बालाघाट जिले के कटंगी विधानसभा के ग्राम कुड़मी के आदिवासी युवक की दर्दनाक मौत का है मामला 


सिवनी। गोंडवाना समय। 

बण्डोल पुलिस थाना के तात्कालीन थाना प्रभारी श्री राजेश दुबे, प्रधान आरक्षक बालमुकुन्द बघेल और भी कुछेक कर्मचारियों ने मिलकर आदिवासी युवक की टैÑक्टर से दुघर्टना से दर्दनाक मौत के मामले में गांधी छाप चश्मा पहनकर ऐसा कारनामा किया है जिसका संदेह ओर अंदेशा गोंडवाना समय समाचार पत्र द्वारा 8 अक्टूबर 2024 के अंक में ही जताया गया था।
        


इस संबंध में मुंगवानीकला में आदिवासी मजदूर की मौत के मामले कोे दबाने का हो रहा प्रयास शीर्षक से समाचार भी प्रकाशित किया था। इस संबंध में जो संदेह गोंडवाना समय द्वारा जताया गया था उसे सत्यता तक पहुंचाने में बण्डोल पुलिस थाना, अस्पताल चौकी की बड़ी भूमिका रही है।  

8 अक्टूबर को ही गोंडवाना समय ने समाचार प्रकाशित किया था 


दिनांक 07 अक्टूबर 2024 को ग्राम मुंगवानी कला नहर के पास दुर्घटना में लाल रंग के महिन्द्रा ट्रेक्टर से लेकिन बंडोल पुलिस ने अपने निजि हित के लिये आरोपी पक्ष से मिलकर घटनाक्रम में नीले रंग के फार्मट्रेक ट्रेक्टर पर प्रकरण बना दिया है।
              

 
घटना में अन्य घायलों के नाम को भी प्रकरण से हटा दिया है। वहीं इस मामले में एक चर्चित दलाल से मिलकर बंडोल थानेदार और

दो अन्य पुलिस वालों ने मिलकर लाखों रूपये का खेला आदिवासी युवक की दर्दनाक मौत के बदले में आरोपी पक्ष से रिश्वत के रूप में लेने की चर्चा है।
                

वहीं घटना कारित करने वाले चालक का भी नाम भी बदल दिया है। वहीं सूत्र बताते हैं कि जिस लाल रंग के महिन्द्रा ट्रेक्टर से घटना हुई उसका बीमा नहीं था और जो ट्रेक्टर चला रहा था उसके पास लायसेंस भी नहीं था। बंडोल पुलिस ने आनन फानन में कार्यवाही की और दूसरा ट्रेक्टर जो कि फार्मट्रेक कंपनी का नीले रंग का है उसे घटनाक्रम में शामिल कर लिया था।
                वहीं बंडोल के तत्कालीन थाना प्रभारी जुआं खिलाने के मामले में श्री राजेश दुबे हट चुके हैं उनके हटते ही गड़े मुर्दे भी उखड़ने लगे है। सबसे अहम व महत्वपूर्ण बात यह है कि गोंडवाना समय समाचार पत्र ने घटना के दूसरे दिन ही यानि 8 अक्टूबर 2024 को ही इस घटना की गड़बड़ी को लेकर समाचार का प्रकाशन किया था। 

दुघर्टना के केशों में रूची रखने वाले दलाल के जाल में फंसा आदिवासी परिवार 


जिस दलाल के साथ मिलकर बंडोल पुलिस ने इस घटनाक्रम को बदला है वो पूरे सिवनी जिले भर में सिर्फ वाहन दुर्घटना के केशों में रूची रखता है। दलाल और बण्डोल पुलिस ने मिलकर आदिवासी परिवार को क्लेम दिलाने के नाम पर आरोपी को बचाने के लिये गुमराह किया है।
                वहीं चर्चित दलाल जो कि अज्ञात वाहन, बिना बीमा वाहन, बिना लायसेंस चालक और अन्य रोड ऐक्सीडेंट के वाहनों के केसों में सिवनी जिले भर के पुलिस थानों के साथ मिलकर हेराफेरी करने का कार्य करता है उसकी बड़ी भूमिका आदिवासी युवक की दर्दनाक मौत के बाद आदिवासी परिवार को गुमराह करने में भी निभा रहा है। 

चालक के साथ टैÑक्टर साथ ही साथ रंग भी बदल दिया है


आदिवासी युवक की दर्दनाक मौत पर सौदा करने वाले बण्डोल पुलिस थाना के पूर्व थाना प्रभारी श्री राजेश दुबे के मार्गदर्शन में प्रधान आरक्षक बालमुकुन्द बघेल और कुछेक कर्मचारी के द्वारा टैÑक्टर मालिक के साथ मिलीभगत व सांठगांठ करके गांधी छाप चश्मा पहनकर इन्होंने चालक के साथ साथ वाहन भी बदल दिया है ऐसा सूत्र बताते है। बण्डोल पुलिस थाना के पास ऐसे-ऐसे जादूगर और पेंटर है कि उन्होंने लाल टैÑक्टर से रंग बदलकर नीला कर दिया है। 

पुत्र की जगह पिता को बना दिया आरोपी 


हम आपको बता दे कि 7 अक्टूबर 2024 को बालाघाट जिले के कटँगी विधानसभा क्षेत्र के ग्राम कुड़मी, ग्राम पंचायत कुड़मी का रहने वाला आदिवासी युवक अंकित इनवाती जो कि लगभग 20 वर्ष का नौजवान था। जिसकी मृत्यू टैÑक्टर से दुर्घटना के दौरान बण्डोल पुलिस थाना अंतर्गत हो गई थी।
                इस मामले में सूत्र बताते है कि टैÑक्टर पुत्र शुभम चला रहा था लेकिन पिता दिनेश को आरोपी बनाया गया है। बण्डोल पुलिस ने इस मामले में आदिवासी परिवार के साथ अन्याय करते हुये टैÑक्टर मालिक को बचाने अपनी पूरी सहानूभूति गांधी छाप चश्मा पहनकर दिखाया है। वहीं इस मामले में गोंडवाना समय परत दर परत पूरे घटनाक्रम का खुलासा करेगा। 

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