क्या ओबीसी वर्ग की उपेक्षा करने की आवाज उठाने पर मोहन चंदेल पर कांग्रेस ने की निष्कासन की कार्यवाही ?
कमल नाथ के सामने गोपालगंज में मोहन चंदेल ने ओबीसी वर्ग के हित में पुरजोर तरीके से उठाया था आवाज
अर्जुन काकोड़िया की आड़ में कहीं आनंद पंजवानी के समर्थकों ने तो नहीं करवाया कार्यवाही
सिवनी। गोंडवाना समय।
मध्यप्रदेश कांग्रेस कमेटी द्वारा बहुसंख्यक जनसंख्या वाला ओबीसी वर्ग की उपेक्षा किया जाने की बात मोहन चंदेल ने प्रदेश कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष कमल नाथ के समक्ष गोपालगंज में आयोजित कार्यक्रम के दौरान खुलकर करते हुये ओबीसी वर्ग के हित अधिकारों की पैरवी किया था।
मोहन चंदेल ने यह भी कहा था कि कांग्रेस पार्टी बहुसंख्यक ओबीसी वर्ग का भविष्य में ध्यान रखें, उनके मान, सम्मान का ख्याल रखे इस तरह उन्होंने कमल नाथ का ध्यान आकृष्ट कराया था।
जातिगत समीकरण को सिवनी विधानसभा में कांग्रेस ने किया दरकिनार
इसके साथ ही वर्ष 2018 के विधानसभा चुनाव में सिवनी विधानसभा से मोहन चंदेल कांग्रेस पार्टी से प्रत्याशी भी रहे थे और उन्होंने लगभग 78 हजार वोट लिया था। इसी के चलते वे सिवनी विधानसभा से 2023 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस से प्रबल दावेदार थे।
गोपालगंज कार्यक्रम में कमल नाथ के समक्ष मोहन चंदेल ने यह भी कहा था कि सिवनी विधानसभा की टिकिट के दौरान उनसे कांग्रेस के उच्च पदाधिकारियों ने यह भी कहा था कि अब चुनाव महंगे हो गये है, चुनाव में बहुत पैसा खर्च होता है यानि की चुनाव पूजीपतियों के वश की बात रह गई है।
इस तरह उन्होंने कहीं न कहीं यह कहने का प्रयास किया था कि सिवनी विधानसभा की टिकिट धनबल के आधार पर दी गई है। कांग्रेस ने सिवनी विधानसभा में टिकिट का फैसला करते समय न तो जातिगत समीकरण देखा और न ही कार्यकर्ताओं की जमीनी हकीकत को देखा था।
यदि जातिगत समीकरण को कांग्रेस देखती तो सिवनी विधानसभा से कांग्रेस का अधिकृत उम्मीदवार शायद और कोई हो सकता था। राजनैतिक जानकारों का कहना है कि सिवनी विधानसभा में कांग्रेस पार्टी जातिगत समीकरण को ध्यान में नहीं रखा जिसका खामियाजा कांग्रेस को भुगतना पड़ा।
मोहन चंदेल 6 वर्षों के लिये निष्कासित
मध्यप्रदेश कांग्रेस कमेटी को अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के पर्यवेक्षक एवं कांग्रेंस पार्टी के अधिकृत प्रत्याशी श्री अर्जुन सिंह काकोड़िया विधानसभा क्षेत्र बरघाट द्वारा मोहन सिंह चंदेल की पार्टी विरोधी गितविधियों में संलग्न रहकर अधिकृत कांग्रेस प्रत्याशी के विरोध में कार्य किये जाने की शिकायत प्राप्त होने पर प्रदेश कांग्रेस कमेटी द्वारा मोहन सिंह चंदेल को 6 वर्ष के लिए कांग्रेस पार्टी से निष्कासित किया गया है।
ओबीसी वर्ग में कांगे्रस के प्रति नाराजगी भी व्याप्त है
कांग्रेस के पूर्व प्रत्याशी व विधानसभा चुनाव के दौरान मोहन चंदेल को दी गई महत्वपूर्ण की जिम्मेदारी के बाद अब विधानसभा चुनाव का मतगणना परिणाम आने के बाद बरघाट विधानसभा व सिवनी विधानसभा में हार ठीकरा मोहन चंदेल पर सर्वप्रथम कांग्रेस द्वारा फोड़ा जाकर ओबीसी वर्ग की उपेक्षा की गई है। कांग्रेस कमेटी द्वारा की गई कार्यवाही से ओबीसी वर्ग में नाराजगी व्याप्त है।
कांग्रेस कमेटी विधानसभा चुनाव में करारी हार के बाद भी आगामी लोकसभा चुनाव को लेकर कांग्रेस गंभीर नहीं है। मोहन चंदेल पर निष्कासन की कार्यवाही यह पहली बार नहीं की गई है पूर्व में भी कार्यवाही की गई थी इसके बाद पुन: उनकी वापसी की गई थी। बार-बार मोहन चंदेल का निष्कासन कर अपमान किये जाने को लेकर ओबीसी वर्ग में कांगे्रस के प्रति नाराजगी भी व्याप्त है। आने वाले लोकसभा चुनाव में कांग्रेस के लिेय नुकसानदेह सबित हो सकता है।