जिले में हो रही उर्वरकों की पर्याप्त उपलब्धता, डबल लॉक केन्द्रों में पहुंचा लगभग 1000 मे. टन यूरिया
छिन्दवाड़ा एवं जबलपुर जिले के रैक पाइंट से यूरिया उपलब्ध करा रहा जिला प्रशासन एवं कृषि विभाग
संतुलित मात्रा में उर्वरक का उपयोग करने उपसंचालक कृषि विभाग ने किसानों से की अपील
सिवनी। गोंडवाना समय।
उपसंचालक किसान कल्याण तथा कृषि विकास सिवनी द्वारा बताया गया कि कृषकों को उर्वरक उपलब्ध कराने के उद्देश्य से जिला प्रशासन एवं कृषि विभाग द्वारा निरंतर प्रयास किये जा रहे है।
इस दिशा में कार्य करते हुये संभागीय कार्यालय म.प्र. राज्य सहकारी विपणन संघ मर्यादित जबलपुर से प्राप्त कार्यक्रम अनुसार छिन्दवाड़ा एवं जबलपुर जिले के रैक पाइंट से सिवनी जिले के डबल लॉक केन्द्रों को यूरिया उपलब्ध कराया जा रहा है।
नागार्जुन फटीर्लाइजर्स एण्ड केमिकल्स लि. का यूरिया उर्वरक डबल लॉक केन्द्रों पर पहुंचा
उपसंचालक किसान कल्याण तथा कृषि विकास सिवनी द्वारा आगे बताया गया कि जिले में नागार्जुन फटीर्लाइजर्स एण्ड केमिकल्स लि. का लगभग 1000 में टन यूरिया उर्वरक डबल लॉक केन्द्रों पर पहुंचा है। जिनमें डबल लॉक केन्द्र सिवनी में 350 मे.टन यूरिया डबल लॉक केन्द्र बरघाट में 100 मे.टन यूरिया डबल लॉक केन्द्र गंगेरूआ में 50 मे.टन, यूरिया डबल लॉक केन्द्र उगली में 150 मे. टन यूरिया डबल लॉक केन्द्र देवघाट में 150 मे.टन यूरिया एवं डबल लॉक केन्द्र छपारा में 200 में.टन यूरिया उपलब्ध कराया गया है। इन डबल लॉक केन्द्रों से सेवा सहकारी समितियों को एवं मार्केटिंग सोसायटियों को उपलब्ध कराया जा रहा है। इसी प्रकार हिन्दुस्तान उर्वरक एवं रसायन लिमि. कंपनी का 300 में.टन यूरिया उर्वरक जिले के डबल केन्द्रों पर पहुंचा है जिसमें डबल लॉक केन्द्र सिवनी में 100 मे.टन यूरिया डबल लॉक केन्द्र बरघाट में 100 मे.टन यूरिया एवं डबल लॉक केन्द्र छपारा में 100 मे.टन यूरिया पहुंचा है।
अनुविभागीय कृषि अधिकारी प्रफुल्ल घोडेसवार द्वारा किया जा रहा है सत्यापन
इसी प्रकार इंडियन पोटाश लिमिटेड कंपनी का यूरिया उर्वरक 200 मे.टन. यूरिया लखनादौन डबल लॉक केन्द्र में पहुंचा है जिसका सत्यापन अनुविभागीय कृषि अधिकारी सिवनी प्रफुल्ल घोडेसवार द्वारा किया जा रहा है। इसी प्रकार आने वाले दिनों में नर्मदा बायोकैम लिमिटेड कंपनी का यूरिया उर्वरक लगभग 800 मे.टन जिले के सिवनी, बरघाट, उगली, देवघाट एवं छपारा डबल लाक केन्द्रों पर पहुंचेगा। जिला प्रशासन एवं उपसंचालक कृषि विभाग द्वारा अपील की गयी है कि कृषक संतुलित मात्रा में ही उर्वरक का उपयोग करें।