आदिवासी बाहुल्य ग्राम बंडा ( थांवरी) में 6 महिनों से विद्युत व्यवस्था से परेशान है ग्रामीणजन
ग्राम बंडा ( थांवरी) कनिष्ठ अभियंता म.प्र.पूर्व क्षेत्र, वि.वि.कं.लि. वितरण केंद्र धूमा अंतर्गत आता है
ऊर्जा मंत्री की कथनी और करनी में अंतर स्पष्ट कर रहा है सिवनी जिले का आदिवासी ग्राम बंडा ( थांवरी)
सिवनी। गोंडवाना समय।
मध्यप्रदेश में शिवराज सरकार और उनके ऊर्जा मंत्री विद्युत व्यवस्था को लेकर किसानों, ग्रामीणों व सूदूर अंचल कहें या वनांचल क्षेत्र में निवास करने वाले रहवासियों को पर्याप्त विद्युत सुविधा प्रदान की जा रही है यह बाते कहते है। जिन्हें विद्युत सुविधाओं का लाभ पर्याप्त मिल रहा है उनके लिये मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान व ऊर्जा मंत्री श्री प्रद्युम सिंह तोमर का बयान व घोषणा सही हो ्रसकती है लेकिन जिन ग्र्रामीणों को अंधेरे में रहकर अपना जीवन यापन करना पड़ रहा है उन ग्रामीणों के लिये मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान व ऊर्जा मंत्री का बयान झूठा ही साबित हो रहा है।
हम आपको बता दे कि सिवनी जिले के अंतर्गत आदिवासी बाहुल्य ग्राम बंडा ( थांवरी) ग्राम पंचायत पौड़ी, पोस्ट-नागनदेवरी, पुलिस थाना धूमा, तहसील लखनादौन, जिला सिवनी कार्यालय कनिष्ठ अभियंता म.प्र.पूर्व क्षेत्र, वि.वि.कं.लि. वितरण केंद्र धूमा अंतर्गत आता है वहां पर ग्रामीणजन घरेलू, खेत एवं स्ट्रीट लाईट विगत 6 माह से बंद होने के कारण अंधेरे में जीवन-यापन करने की समस्या से पीड़ित है। विद्युत की समस्या को लेकर आदिवासी ग्रामीणों ने अनेकों बार क्षेत्रिय जनप्रतिनिधि, अधिकारियों, सिवनी कलेक्टर सहित सी एम हेल्पलाईन में शिकायत कर चुके है लेकिन समस्या का कोई समाधान नहीं हुआ है।
गैर कृषि उपभोक्ताओं को 24 घंटे और कृषि उपभोक्ताओं को 10 घण्टे बिजली देने कृत-संकल्पित है मध्यप्रदेश सरकार-ऊर्जा मंत्री
गैर कृषि उपभोक्ताओं को 24 घंटे और कृषि उपभोक्ताओं को 10 घण्टे बिजली देने कृत-संकल्पित है मध्यप्रदेश सरकार ये कहना मध्यप्रदेश के ऊर्जा मंत्री प्रद्युम सिंह तोमर का कहना है। इसके साथ ही उनका यह भी कहना है कि वर्ष 2003-04 में जब हमारी सरकार सत्ता में आई, उस समय प्रदेश में बिजली की स्थिति अत्यंत दयनीय थी। आये दिन विद्युत कटौती होती थी एवं उद्योगों और कृषकों को भी नियमित विद्युत प्रदाय नहीं हो पा रहा था। उस समय हमारी सरकार ने प्रदेश के विद्युत क्षेत्र में सुधार को एक चुनौती के रूप में लिया और न केवल प्रदेश को बिजली के क्षेत्र में आत्म-निर्भर बनाया, अपितु विद्युत आधिक्य वाले राज्य के रूप में भी स्थापित किया। वहीं विद्युत अधो-संरचना के क्षेत्र में कई उल्लेखनीय कार्य किए गए हैं। ऊर्जा के क्षेत्र में मध्यप्रदेश को आत्म-निर्भर बनाने तथा उपभोक्ताओं को गुणवत्तापूर्ण बिजली उपलब्ध कराने की दिशा में सरकार सतत प्रयत्नशील है।
हमारी सरकार का यह प्रयास रहा है कि प्रदेश के प्रत्येक व्यक्ति को विद्युत उपलब्ध हो, उपभोक्ताओं की संख्या बढ़ने के साथ हमारा यह प्रयास रहा है कि हर उपभोक्ता को आवश्यकता के अनुरूप विद्युत उपलब्ध हो। हैं। इस व्यवस्था को सुचारू रूप से बनाए रखने के लिए सभी विद्युत कंपनियों की वित्तीय साध्यता सुनिश्चित करने के साथ ही सेवाओं में उत्तरोत्तर बेहतरी लाते हुए उपभोक्ता संतुष्टि में वृद्धि करने के प्रयास किए जा रहे हैं। एक हेक्टेयर तक की भूमि वाले एवं गरीबी रेखा से नीचे जीवन-यापन करने वाले अनुसूचित जाति/जनजाति के कृषकों को नि:शुल्क विद्युत प्रदाय किया जा रहा है।
6 माह से विद्युत व्यवस्था बंद होने के कारण समस्त ग्रामीणजन अंधेरे में जीवन यापन करने को है मजबूर
सिवनी जिला मुख्यालय में मध्यप्रदेश स्थापना दिवस के अवसर पर 1 नवंबर 2022 को विद्युत संबंधी समस्या को लेकर आदिवासी ग्रामीणजन स्वयं का व्यय पर चौपहिया वाहन में सवार होकर सिवनी जिला मुख्यालय पहुंचे जहां पर उन्होंने विद्युत वि कंपनी के अधिकारी एवं कलेक्टर कार्यालय में पहुंचकर अपनी समस्या से संबंधित शिकायत समाधान हेतु पुन: प्रस्तुत किया है। आदिवासी विकासखंड लखनादौन के अंतर्गत आदिवासी बाहुल्य ग्राम बंडा ( थांवरी), ग्राम पंचायत पौड़ी, पोस्ट-नागनदेवरी, पुलिस थाना धूमा, तहसील लखनादौन, जिला सिवनी में कार्यालय कनिष्ठ अभियंता म.प्र.पूर्व क्षेत्र, वि.वि.कं.लि. वितरण केंद्र धूमा अंतर्गत विगत 6 माह से विद्युत व्यवस्था बंद होने के कारण समस्त ग्रामीणजन अंधेरे में जीवन यापन करने को मजबूर है।
खेती में सिंचाई नहीं कर पा रहे किसान
बरसात के बाद अब ठण्ड का मौसम भी आ चुका है लेकिन गांव में विद्युत व्यवस्था को सुधारा नहीं गया है। जिसके कारण स्कूल में पढ़ने वाले विद्यार्थियों का शैक्षणिक अध्ययन भी प्रभावित हो रहा है। इसके साथ ही घर में विद्युत नहीं होने के कारण ग्रामीणजन अंधेरे में ही अपना जीवन यापन कर रहे है। इसके साथ विद्युत व्यवस्था सही नहीं होने एवं बंद होने के कारण खेती किसानी में अत्याधिक परेशानी हो रही है। किसान अपनी खेती में सिंचाई नहीं कर पा रहा है। आदिवासी ग्रामीणोें इस संबंध में पूर्व में 30 अगस्त 2022 को सिवनी कलेक्टर साहब को भी विद्युत बंद होने के कारण हो रही है परेशानी की समस्या से समाधान कराने के लिये आवेदन सिवनी कलेक्टर कार्यालय में पहुंचकर ग्रामीणों के द्वारा दिया गया था लेकिन इसके बाद भी आज दिनांक विद्युत व्यवस्था में कोई सुधार नहीं हुआ है।