रेत माफिया महिला सरपंच को त्याग पत्र देने पर कर रहे मजबूर
चिमनाखारी पंचायत में हिर्री नदी व गदम नदी से कर रहे अवैध उत्खनन
सिवनी। गोंडवाना समय।
सरकार किसी की भी हो लेकिन रेत माफियाओं का खेल शायद कभी बंद नहीं हो सकता है। सफेद रेत के काले कारोबार से सोना की कीमत तक मूल्य पहुंचाने में कहीं न कहीं सत्ताधारी सफेदफोश नेताओं व सरकार का संरक्षण भी होता है। कई बार ईमानदारी से कार्यवाही करने वाले पर भी अवैध रूप से उत्खनन करने वाले पर दबंगई दिखाने से नहीं चूकते है। यही स्थिति सिवनी जिले के बरघाट ब्लॉक में भी नजर आ रही है।
कई बार शिकायत पर नहीं सुन रहे अधिकारी
ऐसा ही एक मामला खनिज विभाग की सह पर ग्राम पंचायत चिमनाखारी में रेत उत्खनन का कार्य अवैधानिक तरीके से किया जा रहा है। जिसे तत्काल रोके जाने के लिए चिमनाखारी सरपंच द्वारा तहसीलदार बरघाट को आवेदन दिया गया। बरघाट जनपद पंचायत की ग्राम पंचायत चिमनाखारी में हिर्री नदी व गदम नदी है। जिसमें शासन द्वारा नदी के कुछ स्थानों में रेत नीलामी की गयी व कुछ स्थानों में नीलाम नहीं की गई है। शासन द्वारा रॉयल्टी भी जारी नहीं हो पायी लेकिन ग्राम के कुछ लोग व कुछ बाहर के व्यक्तियों रेत माफिया द्वारा चोरी से शाम 5 बजे से पूरी रात्रि सुबह 7 बजे तक नदी से रेत को उत्खनन कर ट्रेक्टर में भरकर चोरी की जाती है। जिसकी शिकायत ग्राम पंचायत द्वारा संबंधित अधिकारियों को कई बार दी जा चुकी है।
धमकी देकर करते है परिवार से विवाद
चिमनाखारी महिला सरपंच द्वारा सरपंच के अधिकारों का उपयोग करते हुए स्वयं रोकने का प्रयास भी किया गया। इस संबंध में गोंडवाना समय से बात करते हुए सरपंच ने जानकारी दी कि रेत माफियाओं द्वारा उनसे अभद्रता पूर्ण बातें की गई और सरपंच के परिवार के लोगों को मारने पीटने की धमकी देते हुए विवाद करने का प्रयास भी किया गया। इसके साथ ही रेत माफियाओं द्वारा पंचायत के कर्मचारियों को भी डराया धमकाया जाता है। इस संबंध में चिमनाखारी सरपंच द्वारा इसकी शिकायत पुलिस थाना बरघाट में दर्ज की गई है।
सबको बताते है खनिज अधिकारियों को देते है पैसा
रेत माफियाओं पर किसी भी प्रकार की कार्यवाही नहीं होने से रेत उत्खनन का कार्य और भी तेजी से किया जा रहा है। सरपंच द्वारा आगे जानकारी दी गयी कि रेत माफियाओं द्वारा कहा जाता है कि खनिज विभाग भी हमारे साथ है। हमारे द्वारा खनिज विभाग को पैसे देते हैं। इसलिये खनिज शाखा के अधिकारी एक दो बार गाड़ी पकड़कर छोड़ भी देते हैं, ज्यादातर यही बोला जाता है। जिसके चलते रेत माफियाओं के हौसले बढ़ते जा रहे हैं। चिमनाखारी सरपंच व ग्रामवासियों द्वारा तहसीलदार बरघाट से अतिशीघ्र कार्यवाही की मांग की गई है। इसके साथ ही सरपंच द्वारा यह भी कहा गया की रेत माफियाओं के ऐसे रवैये को देखते हुए मुझे सरपंच पद से त्यागपत्र देने को मजबूर होना पड़ेगा।