आदिवासी परिवारों पर साहूकारी कर्ज मुक्ति का आयेगा अध्यादेश
अनुसूचित जाति, जनजाति अत्याचार के प्रकरणों में एफ.आई.आर. दर्ज करने पर दे ध्यान
मुख्यमंत्री कमल नाथ ने कलेक्टरों, जिला अधिकारियों को दी स्वतंत्रता दिवस की बधाई
मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री कमल नाथ ने कहा कि अनुसूचित क्षेत्रों में जनजातीय परिवारों पर साहूकारी ऋण विमुक्ति अध्यादेश लाया जायेगा। इसके अनुसार 15 अगस्त 2019 तक जनजातीय बंधुओं पर साहूकारों के जितने कर्ज हैं सबसे उन्हें मुक्ति मिल जाएगी। उनकी गिरवी रखी सम्पत्ति भी उन्हें वापस मिल जाएगी। ऐसे परिवारों पर जो बकाया कर्ज है उसकी जबरन वसूली करने पर सजा और जुमार्ना होगा। तीन साल की सजा होगी और एक लाख रुपए तक का जुमार्ना देना पड़ेगा। सभी कलेक्टरों को निर्देश दिये गये हैं कि वे अपने जिलों के अनुसूचित क्षेत्रों में ऐसे जनजातीय परिवारों और साहूकारों पर नजर रखें। कोई भी साहूकार जबर्दस्ती कर्ज वसूली न कर पाये। ऐसे गैर लाइसेंसी साहूकारों की जानकारी भी मंगाई जा रही है।
भोपाल। गोंडवाना समय।राज्य सरकार अनुसूचित क्षेत्रों में आदिवासी परिवारों को गैर लाइसेंसी साहूकारों के कर्ज से मुक्ति देने के लिये अध्यादेश लायेगी। इस संबंध में मंगलवार को यहाँ जनाधिकार कार्यक्रम में वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से अध्यादेश के मुख्य प्रावधानों की जानकारी कलेक्टरों को दी गई। मुख्यमंत्री कमल नाथ ने कलेक्टरों को निर्देश दिए कि मिलावटखोरों के खिलाफ अभियान सिर्फ बड़े जिलों तक सीमित नहीं रहना चाहिए। इसे सभी जिलों में सघनता से चलायें। जनता के स्वास्थ्य से खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं किया जायेगा। उन्होंने कहा कि प्रशासनिक सुधारों पर ज्यादा ध्यान देने की जरूरत है। नई कार्य-संस्कृति विकसित करनी होगी। लापरवाही और ढिलाई प्रदेश के हित में नहीं है। इसलिये सोच बदलने की जरूरत है।