जनप्रतिनिधि का कर्तव्य निभाने में फेल साबित हो रहे विधायक
मूलभूत आवश्यकताओं पर मौनी बाबा का रूप धारण कर लेते है योगेन्द्र सिंह
सिवनी/घंसौर। गोंडवाना समय।घंसौर में स्थित एकलव्य विद्यालय के निरंतर शैक्षणिक परिणाम के गिरते स्तर के लिये जितने जिम्मेदार प्रबंधन के प्राचार्य-शिक्षक अन्य कर्मचारी है और साथ में वे बड़े अधिकारी भी जवाबदार है जो एकलव्य विद्यालय के शैक्षणिक स्तर को बढ़ाने से रोकने वाली शिकायतों को गंभीरता से नहीं लेते है या उसकी सूक्ष्मता से जांच न कर लापरवाही करने वालों को बचाने का काम करते है जिससे उनकी हठधर्मिता और बढ़ते जाती है । अब हम बात करें जनप्रतिनिधियों की तो उनका क्या कर्तव्य है सिर्फ निर्माण कार्यों को ही देखना है जहां पर ठेकेदारों के साथ मिलकर कमीशनबाजी का खेल खेला जाता है वैसे भी घंसौर ब्लॉक में ठेकेदारों ने सरकारी धनराशि में जिस तरह भर्राशाही मचाये हुये उसको देखने वाला कोई माई बाप नहीं बचा है ।
सरकारी योजनाओं में हितग्राहियों, मजदूरों का खून चूसने में राजनैतिक ठेकेदार सबसे आगे है । निर्माण कार्य घटिया तो हो ही रहे है कुछ तो कागजों में होते जा रहे है । राजनैतिक दलालों और ठेकेदारों ने घर घर सप्लाई की गुमनाम दुकान खोलकर बैठे है जिनका धरातल तो क्या पाताल में कोई पता नहीं है लेकिना लाखों रूपये के भुगतान पंचायती राज योजनाओं से हो रहा है खैर इस तरह के घोटालों को कोई रोकने वाला नहीं है क्योंकि घंसौर ब्लॉक मेें राजनीति और प्रशासनिक दोनो का मजबूत गठबंधन है । हम बात करें बच्चों के शैक्षणिक भविष्य की तो एकलव्य विद्यालय सरकार की महत्वपूर्ण योजना है और घंसौर में एकलव्य आवासीय विद्यालय में जनजाति वर्ग के बच्चों का भविष्य सवर सकता है लेकिन जो राजनीतिक और प्रशासनिक गठजोड़ का खेल एकलव्य विद्यालय में चल रहा है उससे सिर्फ बच्चों का भविष्य ही बर्बाद हो रहा है ।
इसके लिये क्या क्षेत्रिय विधायक योगेन्द्र सिंह बाबा के जनप्रतिनिधि होने के नाते कोई कर्तव्य नहीं बनता कि वे शैक्षणिक विकास की दिशा में ध्यान दे लेकिन उनकी बीते पंचवर्षीय कार्यकाल की बात करे या अभी 3 महिने की तो जनसेवक होने के अनुसार शैक्षणिक दिशा में वे अपने कर्तव्य को निभाने में फेल साबित हो रहे है । क्षेत्रिय विधायक होने के नाते सबसे पहले तो उनकी जिम्मेदारी बनती है कि वे बच्चों भविष्य निर्माण के लिये बनी संस्थान का नाम शिक्षा में एवं वहां के परिणाम को लेकर विशेष ध्यान देवे लेकिन ठेकेदारों से घिरे रहने वाले लखनादौन विधायक योगेन्द्र सिंह बाबा को शिक्षा, स्वास्थ्य, कानून, रोजगार, पेयजल, सड़क आदि मूलभूत आवश्यकताओं से कोई सरोकार ही नहीं है।