डामरीकरण के दो दिन बाद भी अंगूली से निकल रही प्रधानमंत्री ग्राम सड़क
बिछुआ रैय्यत के पास मंडला रोड से सुंझरी तक बनाई गई है सड़क
सिवनी। गोंडवाना समय।
पहले कभी गुणवत्ता को लेकर मिसाल मानी जाने वाली प्रधानमंत्री ग्राम सड़कें अब ठेकेदारों के मोटे कमिशन और अफसरों की अर्थलिप्सा की वजह से मटियामेट बनने लगी है। ठेकेदारों पर इस कधर मेहरबान है कि सड़क गुणवत्ता विहीन बनाए जाने के बावजूद प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के प्रबंधक और उनका तकनीकी अमला कोई कार्रवाई नहींं कर रहा है और न ही अखबारों की सुर्खिया बनने के बावजूद प्रशासनिक अधिकारी गौर फरमा रहे हैं। ऐसे में सड़क पर जमकर पलीता लगाया जा रहा है। इसका ताजा उदाहरण केवलारी विकासखंड के सुंझरी में दो दिन पूर्व बनाई गई पीएमजीएसवाय की सड़क है जो कि दो दिन पहले डामरीकरण होने के बाद उसकी परत उगली से निकल रही है। वहीं वाहनों का टायर पड़ते ही धपड़े निकल रहे हैं।
30.27 लाख रुपए से बनाई गई है सड़क-
केवलारी से तकरीबन 15 किलोमीटर दूर बिछुआ रैय्यत से कुछ ही दूरी पर मण्डला रोड से सुंझरी तक प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना क्रियान्वयन ईकाई एक के तहत दो दिन पूर्व आचार संहिता के दौरान 30.27 लाख रुपए की लागत से 860 मीटर लंबी डामर की सड़क बनाई गई है। सड़क का निर्माण कार्य सिवनी शहर के ठेकेदार मोतीलाल राय द्वारा किया गया है जो हमेशा अखबारों में घटिया सड़क बनाने के आरोपों में सुर्खियों में बने रहते हैं। सड़क निर्माण की स्वीकृति एक साल पहले की बताई जा रही है और निर्माण कार्य की शुरूआत बोर्ड के अनुसार 28 सितंबर 2018 दर्शाया गया है लेकिन संझरी के ग्रामीणों की मानें कुछ ही दिन पहले काम हुआ है और दो दिन पहले डामरीकरण कर चूना डाला गया है।
बेस भी कमजोर, थिकनेस कम-
ग्रामीण बताते हैं कि सड़क का बेस भी कमजोर है और डामर की थिकनेस भी कम है। वहीं डामर की गुणवत्ता भी सवाल खड़े हो रहे हैं क्योकि दो दिन पूर्व डामरीकरण होने के बावजूद सड़क का मटेरियल उंगली से निकल रहा है। यहीं नहीं वाहनों के टायर से भी डामर अलग ही निकल रहा है और ऐसा लगा रहा है जैसे सड़क दरार मार रही है। तकनीकी सूत्र बताते हैं कि नीचे का बेस अच्छी तरह रोलिंग नहीं हुआ होगा और डामर भी सही तरीके से मिलाकर रोलिंग न होने के कारण सड़क का मटेरियल उंगली से निकल रहा है।